India First Underwater Metro Internet Service: जानकारी के लिए बता दें कि, ये मेट्रो हुगली नदी के नीचे एक सुरंग के माध्यम से हावड़ा और कोलकाता को जोड़ने वाली भारत की पहली अंडरवाटर मेट्रो है। इस मेट्रों को जून 2024 में शुरू कर दिया जाएगा।
कंपनी कंमर्शियल लॉन्च की तैयारी के लिए इसके इंफ्रास्टैक्चर पर निवेश किया है और उम्मीद है कि जल्द ही ये सर्विस शुरू हो सकती है। इस पहल को शुरू करने का उद्देश्य ये है कि एयरटेल कोलकाता के ईस्ट-वेस्ट मेट्रो कॉरिडोर के 4.8 किलोमीटर में निर्बाध कनेक्टिविटी देने वाला पहला ऑपरेटर बनाता है, जो हावड़ा मैदान को एस्प्लेनेड से जोड़ता है। तो आइये इस प्रोडक्ट के बारे में पूरी जानकारी जानते हैं।
किन-किन स्टेशनों पर मिलेगी हाई स्पीड इंटरनेट सुविधा
- एयरटेल की ये सुविधा 4 स्टेशन पर मिलेगी, जिसे 4.8 किलोमीटर की दूरी तक फाइबर के माध्यम से जोड़ा गया है।
- इन स्टेशन में हावड़ा मैदान, हावड़ा स्टेशन, महाकरन और एस्प्लेनेड को शामिल किया गया है। बिना रुकावट इंटरनेट प्रोवाइट कराने के लिए हर स्टेशन पर हाई कैपेसिटी वाले नोड्स को इंस्टॉल किया जाएगा।
- इससे यात्रियों को 5G स्पीड, वॉयस कॉलिंग और डेटा ट्रांसमिशन का फायदा मिलता है, जो कस्टमर्स के अनुभव को बेहतर बनाते हैं।
- भारती एयरटेल पश्चिम बंगाल और ओडिशा के सीईओ अयान सरकार ने एक प्रेस रिलीज में कहा कि एयरटेल अपने कस्टमर्स को बेहतर सेवा देने के लिए सीमाओं से आगे बढ़ने के लिए प्रतिबद्ध है।
- नदी के नीचे सुरंग कनेक्टिविटी देने की यह पहल निश्चित रूप से यात्रियों के लिए एक बेहतर बदलाव लाएगी, जहां उन्हें गंगा नदी के नीचे सुंदर विस्तार का आनंद लेने के साथ-साथ हाई-डेफिनिशन वीडियो स्ट्रीमिंग, गेमिंग, मल्टीपल चैटिंग, फोटो को तुरंत अपलोड करने की सुविधा मिलेगी।
India की पहली अंडरवाटर मेट्रो
- भारत में पहली अंडरवाटर मेट्रो इंजीनियरिंग की एक उपलब्धि है जो जल्द ही आम जनता के लिए खुली होगी। इसे जून 2024 को शुरू किया जाएगा। आपको बता दें कि ये मेट्रो हावड़ा और कोलकाता को जोड़ती है।
- ये अंडरवाटर मेट्रो ट्रेन 12 अप्रैल, 2023 को पहली बार हावड़ा मैदान से एस्प्लेनेड तक एक ट्रायल रन का हिस्सा बना, जिसमें केवल अधिकारी और इंजीनियर शामिल थे।
- आपको बता दें कि अधिकारियों ने सुरंग में पानी के प्रवाह और रिसाव को रोकने के लिए कई उपाय लागू किए। यह कार्य विशेष रूप से कठिन था क्योंकि पानी के नीचे सुरंग स्थल के आसपास के क्षेत्रों में कई ऐतिहासिक इमारतें थीं और अधिकारियों को यह भी ध्यान रखना था कि इस प्रक्रिया में कोई इमारतें क्षतिग्रस्त न हों।
80 की स्पीड से दौड़ेगी मेट्रो
हुगली नदी के तल के नीचे से बनाई गई सुरंगों में से मेट्रो रेल 80 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से चलेगी। नदी के नीचे से गुजरने में इसे एक मिनट से भी कम समय लगेगा। कुल 16 किलोमीटर लंबे इस रेल रूट का 10.8 किलोमीटर हिस्सा जमीन के भीतर है। इसमें नदी के नीचे का हिस्सा भी शामिल है। हुंगली नदी के तल से 13 मीटर नीचे होकर ये मेट्रो ट्रेन गुजरेगी। वहीं मेट्रो का हावड़ा स्टेशन 33 मीटर तक गहरा होगा। अभी दिल्ली का हौज खास देश का सबसे गहरा मेट्रो स्टेशन है। इसकी गहराई 29 मीटर है।
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