Rabindranath Tagore Jayanti 2024: आपकी जानकारी के लिए बता दें कि, सिद्ध कवि, कहानीकार, गीतकार, संगीतकार, चित्रकार और नाटककार रवींद्रनाथ टैगोर का जन्म 7 मई 1861 को कोलकाता के जोरासंको हवेली में हुआ था। इनके पिता का नाम देवेन्द्रनाथ टैगोर था और माता जी का नाम शारदा देवी था। गुरुदेव बाल्यावस्था से बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे।
अपने जीवनकाल में उन्होंने कई रचनाएं की। इनमें गीतांजलि प्रमुख है। इस रचना के लिए गुरुदेव को सन 1913 में साहित्य का नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया।इसके आलावा रबींद्रनाथ टैगोर ने भारत का राष्ट्रगान लिखा और बांग्लादेश को राष्ट्रगान भी दिया। उन्हें साहित्य में नोबेल पुरस्कार मिल चुका है।
विश्वविद्यालय की स्थापना और धर्म संसद में दो बार भाषण देने का गौरव प्राप्त हुआ। रवींद्रनाथ टैगोर बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे, इस कैवल उन्हें गुरुदेव के नाम से भी पुकारा जाता है। तो चलिए आज रवींद्रनाथ टैगोर के 10 अनमोल विचार के बारे में जानते है, जो आपके जीवन में परिवर्तन ला सकती है।
रवींद्रनाथ टैगोर के 10 अनमोल विचार
- अगर मैं इसे एक दरवाजे से नहीं पार कर सकता, तो मैं दूसरे दरवाजे से जाऊंगा। ऐसा संभव नहीं होने पर मैं एक दरवाजा बनाऊंगा। चाहे वर्तमान कितना भी अंधकारमय क्यों न हो, भविष्य में कुछ अद्भुत अवश्य होगा।
- चंद्रमा अपना प्रकाश संपूर्ण आकाश में फैलाता है परंतु अपना कलंक अपने ही पास रखता है। इसका मतलब यह है कि भले ही जीवन में कितना दुख आ जाए, लेकिन अपना दर्द किसी से शेयर न करें।
- दरिया के किनारे खड़े होकर पानी को ताकते रहने से आप समुद्र को पार नहीं कर सकते हैं।
- जो यह जानते हुए भी वृक्ष लगाता है कि वह उनकी छाया में कभी नहीं बैठ पाएगा, उसने जीवन का अर्थ समझना शुरू कर दिया है। इसका अर्थ यह है कि हमें दरिद्र नारायण (मानव समाज) की सेवा करनी चाहिए।
- जीवन में सही समय पर सही निर्णय लेना एक कला है, जिससे हम अपने लक्ष्य की ओर आगे बढ़ सकते हैं।
- सफलता का अर्थ है आत्म-समर्पण, जो हमें अपने काम में पूरी तरह से लगे रहने की क्षमता देता है।
- मानवता की सबसे बड़ी विरासत सत्य है, जो हमें सही और गलत के बीच अंतर करने में मदद करती है।
- प्रत्येक शिशु यह संदेश लेकर आता है कि ईश्वर अभी मनुष्यों से निराश नहीं हुआ है।
- प्रसन्न रहना बहुत सरल है, लेकिन सरल होना बहुत कठिन है।
- जो व्यक्ति दूसरों का अच्छा करने में बहुत ज्यादा व्यस्त रहता है, वह स्वयं अच्छा होने के लिए समय नहीं निकाल पाता है।
रबीन्द्रनाथ टैगोर जयंती 2024 पर शुभकामना सन्देश
- रबीन्द्रनाथ टैगोर की जयंती हमें उनके उत्कृष्ट काव्य, उदार विचारों, और मानवता के प्रति निःस्वार्थ प्रेम को याद दिलाती है। उनके काव्य और लेखों के माध्यम से, वे हमें साहित्यिक समृद्धि का अनुभव कराते हैं और हमें जीवन के महत्वपूर्ण मुद्दों पर सोचने के लिए प्रेरित करते हैं, रबीन्द्र जयंती की शुभकामनाएं।
- भारतीय राष्ट्रगान के रचियता, विश्वविख्यात कवि, साहित्यकार, दार्शनिक और नोबेल पुरस्कार से सम्मानित गुरुदेव श्री रबीन्द्रनाथ टैगोर की जयंती पर शत शत नमन।
- भारतीय राष्ट्रगान के रचयिता, मानवतावादी विचारक, नोबेल पुरस्कार से सम्मानित गुरुदेव श्री रबीन्द्रनाथ टैगोर जी की जयंती पर उन्हें कोटि कोटि नमन।
- गुरुदेव रबीन्द्रनाथ जी टैगोर उन विरल साहित्यकारों में से एक हैं जिनके साहित्य और व्यक्तित्व में अद्भुत साम्य है, गुरुवर की जयंती पर उन्हें नमन,…. Happy Rabindranath Tagore Jayanti??
We're celebrating the anniversary of the birth of a true great: Rabindranath Tagore, who was born #OnThisDay in 1861 in Calcutta, India.
— The Nobel Prize (@NobelPrize) May 7, 2024
The first non-European literature laureate, he was awarded the #NobelPrize "because of his profoundly sensitive, fresh and beautiful verse…" pic.twitter.com/5059btyZ6n
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Image Credit: Google