डायबिटीज को मात देती है ये 10 तरह के चावल, Blood Sugar रहता है पूरा कंट्रोल !

By: Resham Singh

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यह एक अनोखा चावल है जिसे बांस के शूट्स से बनाया जाता है और इसकी ग्लाइसेमिक इंडेक्स मात्र 20 होती है।

बंबू राइस और इंद्रायणी राइस

यह कम मिलने वाला और पौष्टिक छोटे दाने वाला चावल है, जो स्टीम करने पर सबसे स्वादिष्ट लगता है और इसकी खुशबू फूल जैसी होती है।

यह एक छोटे दाने वाला चावल है जो पकाने पर स्पंजी हो जाता है और इसकी खुशबू फूलों जैसी होती है।

कोलम राइस और ब्लैक राइस

पोंगल बनाने के लिए ज्यादातर इसी चावल का इस्तेमाल किया जाता है। इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 51 होता है, जो इसे डायबिटीज रोगियों के लिए अच्छा बनाता है।

इस चावल में हाई लेवल के एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जो फ्री रेडिकल्स को कम करते हैं और इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 55 के आसपास होता है।

रेड राइस

गहरे रंग का यह चावल कैलोरी और ग्लाइसेमिक इंडेक्स (50-55) में कम होता है। यह मिनरल्स और विटामिन से भरपूर होता है।

ब्राउन राइस

भारत में इसे बिरयानी से लेकर खीर तक सभी तरह के व्यंजनों में उपयोग किया जाता है। इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 50-52 के बीच होता है।

बासमती चावल

यह ग्लूटिन रहित होता है और इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 53-55 के बीच होता है।

मोगरा राइस और जोह राइस

पुलाव और बिरयानी बनाने में ज्यादातर इसी चावल का इस्तेमाल किया जाता है, पकाने के बाद यह फूला हुआ लगता है।

सोना मसूरी चावल के मिश्रण से बनाया जाता है। इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 51 होता है।

सोना मसूरी

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